किसान आंदोलन से जुड़े टूलकिट केस में पुलिस की गिरफ्त में आई 21 साल की दिशा रवि पर केंद्रीय मंत्री अमित शाह से सवाल पूछा गया. तो उन्होंने दिल्ली पुलिस के एक्शन का बचाव करते हुए कहा कि किसी भी अपराधी की उम्र नहीं देखनी चाहिए. किसान आंदोलन में खालिस्तानी लिंक से लेकर टूलकिट तक के मसले पर हो रही जांच के सवाल पर अमित शाह ने कहा कि मैं इस केस की मेरिट में नहीं जाता हूं. पुलिस अपने हिसाब से काम कर रही है. यदि कोई व्यक्ति कोई अपराध करता है तो उसकी उम्र या पेशा पूछना चाहिए क्या? ऐसा करना गलत है. दिल्ली पुलिस इस मामले में पूरी जिम्मेदारी और प्रोफेशनल तरीके से काम कर रही है.
यही नहीं सवाल उठाने वालों पर अमित शाह ने तीखा हमला बोलते हुए कहा, यदि कल कोई व्यक्ति बड़ा गुनाह कर देता है तो क्या यह कहा जाएगा कि क्यों किसान, प्रोफेसर और नेताओं पर केस क्यों दर्ज हुआ है.’ उन्होंने कहा कि जेंडर, प्रोफेशन और उम्र के आधार पर अपराध दर्ज नहीं किया जाएगा. एक नया फैशन चल गया है. यदि कोई गलत एफआईआर है तो आप कोर्ट जा सकते हैं. 21 साल की उम्र के तो तमाम लोग हैं, लेकिन दिशा रवि को ही क्यों अरेस्ट किया गया है. दिल्ली पुलिस प्रोफेशनल काम कर रही है. इसके खिलाफ अदालत खुली है और वहां चले जाना चाहिए.
अमित शाह ने कहा कि कानूनी मामलों में सवाल उठाने का आजकल नया फैशन चल गया है. मीडिया भी इसमें पीछे-पीछे चलने लगा है. एबीपी न्यूज को दिए इंटरव्यू में अमित शाह ने कहा कि इस तरह की चीजों से बचना चाहिए. उन्होंने कहा कि यदि कोई प्रोफेशनल ढंग से काम हो रहा है तो उस पर सवाल नहीं उठाना चाहिए. उन्होंने कहा कि यदि आपको लगता है कि एफआईआर गलत है तो फिर कोर्ट का दरवाजा खटखटाना चाहिए.
बता दें, अमित शाह ने पहली बार किसान आंदोलन को लेकर हुई हिंसा के बाद अपनी चुप्पी तोड़ी है. फिलहाल गृह मंत्री पश्चिम बंगाल में व्यस्त हैं. गुरुवार को उन्होंने बीजेपी की 5वीं परिवर्तन यात्रा को हरी झंडी दिखाई. इस दौरान कई रैलियों को उन्होंने संबोधित किया और दोपहर का भोजन एक बांग्लादेशी शरणार्थी के घर पर किया.
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